सेक्टर-23 से तेजी से हटाया जा रहा कूड़े का ढेर, लोगों को जल्द मिलेगी बड़ी राहत
पंचकूला : सेक्टर-23 का वह कूड़े का विशाल ढेर, जो वर्षों से यहां रहने वाले लोगों की जिंदगी में नासूर बन चुका था, अब लगभग समाप्ति की कगार पर है। नगर निगम की सक्रिय पहल और महापौर कुलभूषण गोयल की लगातार मॉनिटरिंग के चलते इस डंपिंग ग्राउंड पर पड़ा कूड़ा अब कुछ ही टन शेष रह गया है, जिसका निस्तारण दिसंबर महीने के अंत तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। लंबे समय से कूड़े के ढेर और बदबू से परेशान स्थानीय लोगों ने इसे बड़ी राहत के रूप में देखा है। सेक्टर-23 में स्थित यह डंपिंग साइट घग्गर के समीप होने के कारण लोगों के लिए गंभीर समस्या बन चुकी थी। गर्मी में बदबू और बारिश के दिनों में सड़ांध व मच्छरों का प्रकोप असहनीय हो जाता था। कई बार लोगों ने प्रदर्शन भी किए, वहीं चुनावों में भी यह मुद्दा प्रमुखता से उठाया गया। लेकिन महापौर कुलभूषण गोयल के हस्तक्षेप और लगातार निरीक्षणों से कूड़े के इस पहाड़ को समाप्त करने की दिशा में ठोस कदम उठे, जिनका परिणाम अब सामने है।
बुधवार को महापौर कुलभूषण गोयल ने एक बार फिर सेक्टर-23 स्थित डंपिंग ग्राउंड का दौरा किया और वहां चल रहे कार्यों का जायजा लिया। अधिकारियों ने उन्हें जानकारी दी कि ग्राउंड लेवल तक कूड़े को हटाने के लिए कुछ समय पहले 1,71,000 टन कचरे के निस्तारण का टेंडर जारी किया गया था। अब तक लगभग 95,000 टन कचरा प्रोसेस किया जा चुका है, जबकि शेष कूड़ा भी 25 दिसंबर तक हटाने का लक्ष्य रखा गया है। इसके लिए नगर निगम अधिकारी लगातार साइट पर मॉनिटरिंग कर रहे हैं, ताकि कार्य समय पर पूरा हो सके। महापौर गोयल ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि किसी भी हालत में यह कार्य निर्धारित समय से पहले पूरा होना चाहिए, क्योंकि इससे हजारों लोगों को सीधा लाभ मिलने वाला है। स्थानीय निवासियों ने महापौर का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि वर्षों से चली आ रही उनकी समस्या अब खत्म होने वाली है। लोगों ने बताया कि वे कई बार अधिकारियों और महापौर से मिलकर समस्या उठाते रहे और गोयल ने हर बार न सिर्फ ध्यान दिया बल्कि समाधान के लिए लगातार फॉलो-अप भी किया। निवासियों का कहना है कि कूड़े के ढेर के हटने से न सिर्फ बदबू और गंदगी से राहत मिलेगी बल्कि क्षेत्र में प्रदूषण भी कम होगा और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं में भी कमी आएगी। महापौर कुलभूषण गोयल द्वारा किए गए ये प्रयास स्थानीय लोगों के जीवन को बेहतर बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो रहे हैं।