हरियाणा की तेजतर्रार IPS भारती अरोड़ा की रिटायरमेंट भगवा वेश में आई नजर
चंडीगढ़:-अंबाला रेंज में तैनात आईजी और वरिष्ठ आईपीएस अफसर भारती अरोड़ा का मंगलवार को नौकरी को आखिरी दिन था। वो भगवा वेशभूषा में अपने दफ्तर पहुंची। इस दौरान सुबह से ही समाजसेवी संस्थाओं और विभागीय अधिकारियों का उनके पास मिलने के लिए तांता लगा रहा। शाम तक कार्यालय में रहकर भारती अरोड़ा ने अपना सारा काम निपटाया। समाजसेवियों ने उनके कार्यों की सराहना करते हुए वृंदावन में दोबारा मिलने की बात कहीं। अब वृंदावन में भक्तिमार्ग पर चलने वाली भारती अरोड़ा ने कहा कि हरियाणा में आने के बाद ही उनके जीवन में हरि का आना हुआ भारती अरोड़ा ने कहा कि वो 1 दिसंबर को सीधा वृंदावन जाएंगी। भारती अरोड़ा ने जुलाई, 2021 में स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति के लिए आवेदन किया था। भारती अरोड़ा के इस फैसले पर गृहमंत्री अनिल विज सहित पुलिस प्रशासन ने उन्हें अपने फैसले पर दोबारा विचार करने का समय दिया था। चार महीने काम करने के बाद एक बार फिर भारती अरोड़ा ने जिंदगी का मकसद कुछ ओर यानी कृष्ण भक्ति की बात कहते हुए फिर से वीआरएस अप्लाई कर दी। इस बार गृहमंत्री अनिल विज और पुलिस प्रशासन की तरफ से फाइल को मुख्यमंत्री मनोहर लाल को भेजा गया था। अनुमति मिलने के बाद एक दिसंबर को भारती को रिलीव होना है।
हरियाणा काडर के IPS विकास अरोड़ा से हुई शादी : भारती अरोड़ा की शादी हरियाणा काडर के आईपीएस अधिकारी विकास अरोड़ा से हुई है। विकास अरोड़ा फिलहाल फरीदाबाद के पुलिस कमिश्नर हैं। भारती अरोड़ा राई स्पोर्ट्स स्कूल की प्रिंसिपल भी रह चुकी हैं, जहां उन्होंने कई बेहतर काम किए है। भारती अरोड़ा पुलिस पुलिस सेवा की 1998 बैच की अफसर हैं। 23 साल की पुलिस सर्विस में वह हरियाणा में कई जिलों में SP के अलावा करनाल रेंज की आईजी रह चुकी हैं और इस समय अंबाला रेंज की आईजी हैं। उनको गृहमंत्री और सीएम ने कबूतरबाजों द्वारा की जा रही ठगी के मामलों में एक्शन लेने के लिए एसआईटी का मुखिया बनाया था। भारती अरोड़ा ने कहा कि राज्य में कबूतरबाजी के नाम पर लोगों का जीवन और पैसा हड़पने वाले 550 लोगों को हमने गिरफ्तार किया और पैसे की रिकवरी भी की। पिछले दस साल में इतने केस दर्ज नहीं हुए है।अंबाला करनाल में रहते हुए भारती अरोड़ा ने बड़े बड़े कबूतरबाजों को गिरफ्तार कर जेल में भेजा। इतना ही नहीं, उनसे रिकवरी कर उन गरीब युवाओं के परिवारों की मदद का बड़ा काम हुआ, जिनका सारा कुछ बर्बाद हो गया था, साथ ही बिना किसी कुसूर के बाहर के देशों में जेलों में रहना पड़ा था। इसी तरह से गौवंश को बचाने के लिए भी भारती अरोड़ा ने गौ तस्करी वाले इलाकों में खास अभियान चलाए। उसमें भी उन्हें काफी सफलता मिली और लोगों का साथ भी मिला।