मुख्यमंत्री ने कर्जमाफी पर शिवराज सिंह चौहान को लिखा पत्र, कहा सच्चाई को स्वीकार करें

भोपाल। लोकसभा चुनाव संपन्न होने के बाद अब परिणामों की बारी है। 23 मई को परिणाम घोषित होने के साथ ही आचार संहिता समाप्त हो जाएगी। मप्र की कांग्रेस सरकार आचार संहिता समाप्त होते ही एक बार फिर कर्जमाफी की प्रक्रिया को शुरू करने की तैयारी में है। इतना ही नहीं मप्र के मुख्यमंत्री कमलनाथ ने पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को एक पत्र लिखकर कांग्रेस सरकार द्वारा की गई किसानों की कर्जमाफी की सच्चाई को स्वीकार करने और दोबारा प्रक्रिया शुरू होने पर सहयोग और शुभकामनाओं की अपेक्षा की है।  मुख्यमंत्री कमलनाथ ने बुधवार को मप्र के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के नाम एक पत्र लिखकर उन्हें कर्जमाफी पर राजनीति नहीं करने की सलाह देते हुए कांग्रेस सरकार द्वारा की गई किसानों कर्जमाफी की सच्चाई को स्वीकार करने की बात कही है। सीएम कमलनाथ ने अपने पत्र में लिखा है कि कांग्रेस ने चुनाव से पहले किसानों को 2 लाख रुपये तक फसल ऋण माफी का वचन दिया था और मुख्यमंत्री पद ग्रहण करने के बाद सबसे पहले पहले आदेश के रूप में किसानों के 2 लाख तक के फसल ऋण माफी के आदेश पर हस्ताक्षर किए। उसके बाद हमने कर्ज माफी की प्रक्रिया को प्रारंभ किया। 

पत्र में आगे कमलनाथ ने लिखा कि आचार संहिता लगने के पूर्व तक हमने करीब 21 लाख किसानों के कर्ज माफ किए। आचार संहिता समाप्त होते ही हम कर्जमाफी की इस प्रक्रिया को वापस प्रारंभ कर शेष बचे किसानों के भी कर्ज माफ करेंगे। उन्होंने कहा कि यह हमारा चुनावी वादा या चुनावी घोषणा नहीं थी। यह हमारा वचन है, जिसे हम हर हाल में पूरा करेंगे। शिवराज सिंह चौहान पर कर्जमाफी को लेकर झूठ बोलने और किसानों को भ्रमित करने का आरोप लगाते हुए सीएम कमलनाथ ने कहा कि आपने चुनावों को देखते हुए कर्जमाफी को लेकर किसान भाइयों को निरंतर गुमराह व भ्रमित करने के प्रयास में दुष्प्रचार करते रहे। 

अपने पत्र में अंत में सीएम कमलनाथ नेे शिवराज सिंह चौहान से अपील करते हुए कहा कि अब चूंकि चुनाव समाप्त हो चुके है। अत: क्या अब मैं आपसे उम्मीद कर सकता हूं कि आप कर्जमाफी की इस सच्चाई को स्वीकार करेंगे। यह सरकार किसान हितैषी है। इसने अपना वादा निभाया है। उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव के दौरान प्रदेश में किसान कर्जमाफी का मुद्दा खूब उछला था। शिवराज सिंह चौहान चौहान लगातार सभाओं के दौरान किसान कर्जमाफी कांग्रेस का झूठ और धोखा बता रहे थे। पिछले दिनों कर्जमाफी के प्रमाणों को लेकर भी खूब घमासान देखने को मिला था। 

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