बरसाती मौसम की निकटता के चलते उपायुक्त ने यमुना का दौरा कर लिया बाढ़ प्रबंधों का जायजा

सोनीपत ।  यमुना नदी पर सोनीपत की सीमा में बाढ़ बचाव कार्यों की समीक्षा करते हुए उपायुक्त डाॅ. शालीन ने शनिवार को दो माइनिंग कंपनियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने के आदेश दिए। साथ ही उन्होंने दोनों कंपनियों द्वारा यमुना नदी के अंदर बनाए गए बंध व रास्तों को भी तुरंत प्रभाव से हटाने के आदेश दिए। बरसाती मौसम की निकटता के चलते उपायुक्त डॉ. शालीन ने प्रशासनिक तथा संबंधित विभागीय अधिकारियों के साथ यमुना नदी पर बाढ़ बचाव कार्यों की की। उन्होंने टिकोला गांव की सीमा में खनन कंपनी डीएसपी एसोसिएट्स तथा बड़ौली में टैक्रो एक्सपर्ट्स के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के आदेश दिए। दोनों ही कंपनियों ने यमुना नदी के बहाव के साथ छेड़छाड़ की, जिस पर उपायुक्त ने दोनों कंपनियों के संंबंधित प्रबंधकों को फटकार भी लगाई। कंपनियों ने यमुना नदी के अंदर अस्थाई मार्ग का निर्माण किया हुआ था, जिससे नदी के बहाव को प्रभावित किया गया। उपायुक्त ने कहा कि यह गैर-कानूनी है। अत: शीघ्रातिशीघ्र यमुना के भीतर बंध व रास्तों को तोड़ा जाए। इसके पहले उपायुक्त ने अपने दौरे की शुरुआत बेगा घाट से की। बेगा घाट पर उन्होंने यमुना के कटाव तथा बहाव का मुआयना किया। साथ लगती जिला पानीपत की सीमा तथा पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश की सीमा के संदर्भ में भी विभिन्न पहलुओं पर चर्चा की। यहां बनाई ठोकरों का भी निरीक्षण किया। साथ ही उन्होंने ठोकरों की मरम्मत के भी निर्देश दिए। बेगा से होते हुए उपायुक्त डा. शालीन मीमारपुर घाट पर पहुंचे, जहां उन्होंने यमुना में बनाई ठोकरों की जरूरतों पर ग्रामीणों के साथ चर्चा की। इसके बाद वे टिकोला गए। टिकोला से नांदनौर होते हुए बड़ौली घाट का निरीक्षण किया। बड़ौली से जगदीशपुर पहुंचे और अंत में दहिसरा घाट का दौरा किया। इस दौरान उन्होंने सभी घाटों पर यमुना के बहाव तथा कटाव की बारीकी से समीक्षा की। उन्होंने ग्रामीणों को विश्वास दिलाया कि यमुना में पानी बढऩे पर ग्रामीणों को कोई समस्या नहीं होने दी जाएगी। हर प्रकार के पुख्ता प्रबंध किये गये हैं।
 रोज (नीलगाय) से बचाव के उपायों पर किया मंथन यमुना पर बाढ़ बचाव कार्यों के निरीक्षण के दौरान उपायुक्त डाॅ. शालीन ने ग्रामीणों से भेंट करते हुए समस्याओं की जानकारी ली। बेगा, टिकोला आदि कई गांवों के ग्रामीणों ने रोज (नीलगाय) की समस्या से निजात दिलाने की मांग की। ग्रामीणों ने कहा कि रोज उनकी फसलों को नष्ट कर देती है। किसानों को नुकसान से बचाने के लिए रोज से छुटकारा दिलाने की जरूरत है। इस पर उपायुक्त ने ग्रामीणों से ही इस संदर्भ में सुझाव मांगें और भरोसा दिलाया कि जल्द ही इस समस्या का समाधान किया जाएगा। उन्होंने सभी घाटों का निरीक्षण करते हुए हर प्रकार की आवश्यकताओं की समीक्षा की। 
 टिकोला में 60 लाख की लागत से बनायेंगे ठोकर बाढ़ प्रबंधन कार्यों के निरीक्षण के दौरान उपायुक्त डा. शालीन ने टिकोला में एक ठोकर की आवश्यकता महसूस की। ग्रामीणों की मांग पर उन्होंने संबंधित स्थल का दौरा करते हुए कहा कि वे यहां ठोकर लगाने के लिए सरकार को प्रस्ताव भेजेंगे। यहां करीब 60 लाख रुपये की लागत से ठोकर का निर्माण कराया जाएगा। 

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