सुप्रीम कोर्ट के कर्मचारियों ने चीफ जस्टिस के पक्ष में एकजुटता जाहिर की

नई दिल्ली । चीफ जस्टिस रंजन गोगोई के खिलाफ यौन उत्पीड़न के मामले में सुप्रीम कोर्ट के कर्मचारियों ने चीफ जस्टिस के पक्ष में एकजुटता जाहिर की है। सुप्रीम कोर्ट के करीब दो सौ कर्मचारी सुप्रीम कोर्ट परिसर में जमा हुए और कहा कि हम चीफ जस्टिस के साथ हैं। इन कर्मचारियों ने कहा कि ये संस्थान को बदनाम करने की साजिश है। इन कर्मचारियों ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट का हर जज और कर्मचारी ईमानदारी से काम करते हैं।

उधर, सुप्रीम कोर्ट के बाहर आज भी महिला कार्यकर्ताओं ने प्रदर्शन किया। कल यानि 7 मई को भी महिला कार्यकर्ताओं और महिला वकीलों ने सुप्रीम कोर्ट के सामने प्रदर्शन किया था।

चीफ जस्टिस रंजन गोगोई के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट की एक पूर्व कर्मचारी की ओर से यौन उत्पीड़न के आरोपों की जांच करने वाली सुप्रीम कोर्ट की तीन सदस्यीय आंतरिक पैनल ने चीफ जस्टिस को क्लीनचिट दे दी है। इस पैनल की अध्यक्षता जस्टिस एसए बोब्डे कर रहे थे। इस जांच पैनल में जस्टिस इंदिरा बनर्जी और जस्टिस इंदु मल्होत्रा शामिल थे।

इस संबंध में सुप्रीम कोर्ट ने पिछले 6 अप्रैल को एक प्रेस रिलीज जारी कर कहा था कि आंतरिक पैनल की रिपोर्ट को सार्वजनिक नहीं किया जा सकता है। सुप्रीम कोर्ट ने इसके लिए 2003 के इंदिरा जयसिंह केस का हवाला दिया। पैनल ने ये रिपोर्ट पिछले 5 मई को जस्टिस अरुण मिश्रा को सौंपी थी। 

इस बीच, आरोप लगाने वाली महिला ने जस्टिस एसए बोब्डे को पत्र लिखकर पैनल की जांच रिपोर्ट की कापी उपलब्ध कराने की मांग की है।

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