कैबिनेट : गन्ना किसानों के हित में सरकार ने लिए दो महत्वपूर्ण फैसले
नई दिल्ली । केन्द्र सरकार ने गन्ना किसानों को अतिरिक्त उत्पादन की स्थिति में लाभ देने और चीनी मिलों की उधारी से बचाने के लिए दो महत्वपूर्ण फैसले लिए हैं। पहले फैसले में सरकार ने 40 लाख टन के भंडारण और दूसरे फैसले में गन्ने का न्यूनतम समर्थन मूल्य 275 रुपये प्रति क्वींटल तय किया है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में केन्द्रीय मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति ने बुधवार को उक्त दोनों प्रस्तावों को मंजूरी प्रदान की। मंत्रिमंडल के फैसलों की जानकारी देते हुए केन्द्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि गन्ना किसानों को अधिक उत्पादन की स्थिति में पर्याप्त दाम नहीं मिलते हैं। ऐसे में सरकार पिछले साल की ही तरह भंडारण तैयार करेगी। 40 लाख टन के भंडारण के बदले चीनी मिलों को बैंकों से कर्ज मिलेगा और वह इससे गन्ना किसानों को भुगतान करेंगी। इसमें ब्याज, बीमा राशि और अन्य खर्चे सरकार वहन करती है।
इसके अलावा सरकार ने सीएससीबी की गन्ना उत्पादन में लगने वाली लागत संबंधित रिपोर्ट को स्वीकार कर लिया है। इस रिपोर्ट के आधार पर लागत में 50 फीसदी जोड़कर सरकार ने गन्ने का न्यूनतम समर्थन मूल्य 275 रुपये दिया है। गन्ने से अतिरिक्त रस निकलने की स्थिति में 10 फीसदी से अधिक प्रति 0.1 निकासी में 2.75 रुपये प्रति क्वींटल दिया जाएगा।